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फोटो संख्या-43- सुबह हुई बारिश से राठ रोड पर गड्ढों में भरा पानी। संवाद

फोटो संख्या -44- सुबह हो रही बारिश के दौरान रेन कोट पहनकर निकले लोग। संवाद

रिम-झिम बारिश ने गर्मी से दिलाई निजात

गेहूं की पछेती खेती करने वाले किसान परेशान

संवाद न्यूज एजेंसी

उरई। रविवार को सुबह शुरू हुई रिमझिम बारिश से मौसम जरूर खुशगवार हो गया लेकिन, ग्रामीण इलाकों में गेहूं की पछेती किस्म की खेती करने वाले किसानों को नुकसान होने की आशंका है। उधर, बारिश में ही शहर के कई मोहल्लों में जलभराव जैसी स्थिति होने से लोगों को काफी परेशानी हुई।

पिछले एक सप्ताह से मौसम में बराबर बदल रहा है। रविवार की सुबह अचानक आकाश में बादल छा गए कुछ ही देर में बारिश होने लगी। मौसम में आए बदलाव से जहां लोगों को गर्मी से राहत मिल रही है। क्षेत्रीय ग्राम उदोतपुरा, लौना, गूढ़ा, हरदोई राजा आदि में हल्की फुल्की बारिश हुई। किसान श्यामू लौना, गजेंद्र सिह उदोतपुरा, बृजेश खनुआं आदि ने बताया कि अभी पछेती का गेहूं कटकर खेतों में रखा है। इससे किसानों को नुकसान की आशंका है। बारिश होने की वजह से गर्मी से निजात मिल गई है। पिछले दिनों तापमान 40 डिग्री तक पहुंच गया था। बादल छाने और बारिश होने से तापमान 31 डिग्री तक पहुंच गया है।

खरीफ-जायद की फसलों के लिए फायदा

बेमौसम हो रही बरसात से खरीफ की फसल करने वाले किसानों के चेहरे खिले हैं। दो तीन दिन से हो रही बूंदा बांदी खेतों के लिए वरदान साबित हो रही है। जानकारों का कहना है कि हल्की बारिश से किसानों की फसलों में पैदाबार बढ़ने की उम्मीद बनी रहती है। जिले में पिछले तीन दिनों से हो रही बारिश से खरीफ की फसल करने वाले किसानों के चेहरे खिले हुए हैं। कृषि वैज्ञानिक डॉ. राजीव कुमार सिंह का कहना है कि अप्रैल माह में हो रही बारिश से किसानों को कोई नुकसान नहीं है। लेकिन खरीफ की पैदावार करने वाले किसानों को इससे लाभ जरूर होगा। उन्होंने बताया कि थोड़ी थोड़ी बारिश होने से पैदावार बढ़ेगी होगी। इसके साथ ही मैंथा करने वाले किसानों के लिए यह बारिश का पानी बहुत उपयोगी साबित होगा। नहर या नलकूपों से पानी भरने व बारिश के पानी में बहुत अंतर हैं। उन्होंने बताया कि किसानों के लिए यह पानी उपयोगी है।



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