चित्रकूट। गैंगस्टर मामले में दोष सिद्ध होने पर न्यायालय ने नौ लोगों को पांच-पांच वर्ष कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही प्रत्येक को 10-10 हजार रुपये के अर्थदंड से भी दंडित किया है। सभी आरोपी चित्रकूट के कहेटा व परसौंजा गांव निवासी हैं।
बुधवार को अभियोजन अधिकारी ज्ञानेंद्र सिंह व सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता सनद कुमार मिश्रा ने बताया कि आठ सितंबर 2014 को तत्कालीन पहाड़ी थाना प्रभारी हरिशरण सिंह यादव ने 10 लोगों के विरूद्ध गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई की थी।
इसमें पहाड़ी थाना क्षेत्र के कहेटा माफी गांव के निवासी रावेंद्र सिंह, रामकृष्ण सिंह, विनोद सिंह उर्फ बच्चा सिंह , परसौंजा गांव के निवासी रामनरेश सिंह उर्फ लव सिंह पटेल, काशी प्रसाद पटेल , विद्या लोध , राजा उर्फ रामराज , राजकरण त्रिपाठी, रूद्र देव सिंह उर्फ लाल सिंह के विरूद्ध गिरोहबंद होकर क्रिया कलाप निवारण अधिनियम के तहत कार्रवाई हुई थी।
पुलिस के अनुसार गैंग लीडर राजकरण उर्फ राजा अपने गैंग के सदस्यों के साथ आर्थिक, भौतिक लाभ के लिए आपराधिक कृत्यों को अंजाम दे रहा था। पुलिस ने इस मामले में रिपोर्ट दर्ज करने के बाद न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल किया था। विचारण के दौरान एक आरोपी रावेन्द्र सिंह की मृत्यु हो गयी थी।
बचाव और अभियोजन पक्ष के अधिवक्ताओं की दलीलें सुनने के बाद त्वरित न्यायालय के अपर जिला जज सुशील कुमार वर्मा ने मृतक को छोड़कर अन्य सभी आरोपियों को पांच-पांच वर्ष के कठोर कारावास व प्रत्येक आरोपी को 10-10 हजार रुपये के अर्थदंड से भी दंडित किया गया है।